Monday, October 22, 2018

तू बदनाम न हो इसलिए जी रहा हूँ अब तक 

वरना मेरी “जान” तेरी कसम मरने का ‘इरादा’ तो रोज होता हैं.

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मंदिर की घंटी , आरती की थाली नदी के किनारे सूरज की लाली जिंदगी में आए खुशियों की बहार आपको मुबारक हो छठ का त्यौहार −−−−−−−−−−−−−−−...